Media Trial of Kshatriyas
1. “ठाकुर का कुआं“: वर्चस्व की हकीकत छिपाता मिडिया कुख्यात नाज़ी प्रोपगैंडिस्ट जोसेफ गोएबल्स के अनुसार “”यदि आप किसी झूठ को बार-बार दोहराएंगे, तो अंततः
Cinematic Caricaturing of Kshatriyas
Cinema: A Tool of Mass Propaganda by the Rich & Powerful Aldous Huxley लिखते हैं “”दुष्प्रचार करने वालों का उद्देश्य सर्व समाज को यह भुला
क्षत्रिय और फॉरवर्ड कास्ट का मिथक
क्षत्रियों को फॉरवार्ड जातियों के साथ शामिल किया जाना उनके साथ किया गया सबसे बड़ा खेल था। कुछ चंद राजे रजवाड़ों को छोड़ दिया जाए
Kshatriyas (Rajputs) : A Race of Soldiers & Farmers
इतिहास में 99 % क्षत्रिय आम सैनिक और किसान रहे हैं। पुराने जमाने मे क्षत्रिय परिवार अपने वंश/कुल/भाईबंध के जागीरदार/ठिकानेदार/तालुकेदार के आश्रित होते थे। जागीरदार
क्षत्रिय विरोधी दुष्प्रचार और क्षत्रिय एलिट की उदासीनता
आज अगर कोई 1880 से 1947 तक राजस्थान का राजनीतिक और आर्थिक इतिहास पढ़ने बैठे तो कोई अपवाद दृष्टांत ही होगा जिसमे राजपूत शासन व्यवस्था
Kshatriya Political Struggle : Viewing Past & Present from Demographic Lens
जो निज रक्षा को तत्पर हैं, रक्षित उनके अधिकार रहें । जो लड़ने को तैयार नहीं वो मरने को तैयार रहें ।। Those communities which
“सामंतवाद”: क्षत्रियों के विरुद्ध सामाजिक षड्यंत्र
आम क्षत्रियों को सामंत और क्षत्रिय राजाओं को subaltern बनाने की गजब राजनीति क्षत्रिय समाज के संदर्भ में भारत के बेईमान बौद्धिक विमर्श को देखते
Mewati Khanzadas are Jadaun Kshatriyas but Meos Are Muslim Meenas
भारतीय अकादमिया और मीडिया के ज्ञान के स्तर का अंदाजा इनके मेव और मेवात सम्बन्धी विमर्श से लगाया जा सकता है |भारतीय अकादमिक रिसर्च में
Way forward for Kshatriyas
Kshatriyas versus Neo-Samants: Institutional & Intellectual Dual-Standards Recent UPSC results of 2023 have thrown up a very miserable picture of Rajput representation in civil services.
Facts versus Narrative: Justice vs Hegemony
Ahir bindheshwari Prasad was a rich zamindar from Bengal, who ironically sat down to write the destiny of the downtrodden non scheduled backward castes. The